बारिश का मौसम शुरू होते ही आकाशीय बिजली से गई कई जानें, इन उपायों को करके आप बचा सकते हैं अपनों की जान



बिंदेश्वरी सिंह की खास खबर



खानपुर। बारिश का मौसम शुरू हो चुका है और महज कुछ दिनों के अंदर आकाशीय बिजली गिरने से गाजीपुर में कईयों की मौत हो चुकी है। महज कुछ आवश्यक जागरूकता रखकर आकाशीय बिजली से बचाव किया जा सकता है। ये जानें प्रतिवर्ष बारिश के समय में ठनका या वज्रपात गिरने से जाती हैं। ठनका यानि आसमानी बिजली गिरना एक प्राकृतिक आपदा है और इसे रोका नहीं जा सकता, लेकिन सावधानी रखकर ठनका से होने वाले जानमाल के नुकसान से बचा जा सकता है। इस बाबत इलेक्ट्रिक इंजीनियर प्रदीप सिंह बताते हैं कि धरती पर पहुंचने पर आकाशीय बिजली एक बेहतर सुचालक तलाशती है। धातु और पेड़ इसके बेहतर सुचालक होते हैं। ऐसे में भवनों को बनवाने के बाद छत पर तड़ित चालक जरूर लगाना चाहिए। अगर भवन में तड़ित लगा है तो आकाशीय बिजली उससे होकर सीधे जमीन में जाकर खत्म हो जाती है। जिससे न तो भवन को असर होता है और न ही किसी व्यक्ति पर। बताया कि बारिश में खासकर जब बादल चमक रहे हों तो पेड़ के नीचे किसी कीमत पर खड़े नहीं होना चाहिए। वज्रपात के दौरान खेतों में होने पर पानी से दूर रहें और अगर नदी या तालाब में हों तो निकलकर तत्काल सूखी जमीन पर आ जाएं। बिजली गिरने पर घर की बिजली काट देनी चाहिए। धातु से बनी वस्तु से भी दूरी बनाकर रहे और मोबाइल तथा टेलीविजन का उपयोग इस दौरान कतई न करें। गांवों में तड़ित चालक नहीं होने पर घरों पर ठनका गिरने की संभावना काफी अधिक रहती है। संकेत बताते हुए कहा कि अगर बारिश के दौरान सिर के बाल अपने आप खड़े हो रहे हों तो आस पास खतरा हो सकता है। ऐसे में अपने हाथों से बालों को ढंककर सिर को घुटनों में छिपा लें। इसके अलावा सभी से घरों व भवनों पर तड़ित लगाने की अपील की।



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