भितरी स्थित ऐतिहासिक स्थल की निरीक्षण करने पहुंचे प्रशिक्षु एसडीएम, समाजसेवी ने सुनाई हुणों के आतंक का अंत करने वाले महान सम्राट स्कंदगुप्त की गाथा
देवकली। गाजीपुर जिले को इतिहास के क्षेत्र में अलग स्थान प्रदान करने वाले सैदपुर के भितरी स्थित ऐतिहासिक अवशेषों का स्थलीय निरीक्षण करने के लिए प्रशिक्षु एसडीएम व प्रभारी बीडीओ निशांत उपाध्याय अपनी टीम के साथ पहुंचे और अवशेषों का जायजा लिया। इतिहास में पन्नों में स्वर्णिम अक्षरों से अंकित है इस सम्राट स्कंदगुप्त के साम्राज्य के बचे हुए एक-एक अवशेषों का जायजा लिया। बता दें कि सम्राट स्कंदगुप्त ने हुणों की बर्बरता का यहीं पर खात्मा किया था। इसके बाद विजय स्तंभ भी बनवाया था, जिसका अवशेष आज भी जीर्ण शीर्ण अवस्था में यहां पर पड़ा हुआ है। सम्राट के साम्राज्य के अवशेष की खुदाई मे मिले दुर्लभ अवशेषों को दिल्ली, जयपुर व सारनाथ सहित देश के अनेक संग्रहालयों मे सुरक्षित रखा गया है। अवशेष स्थल पर पहुंचे प्रशिक्षु एसडीएम ने ऐतिहासिक स्थल, खुदाई स्थल, विजय स्तम्भ, अशोक की लाट आदि का अवलोकन किया। इस स्थल को ऐतिहासिक स्थल का दर्जा दिलाते हुए इसकी देखरेख की मांग करने वाले समाजसेवी सनाउल्लाह शन्ने के साथ प्रशिक्षु एसडीएम ने आधे घंटे तक स्थल का जायजा लिया और समस्याओं आदि की जानकारी ली। साफ सफाई, पेयजल, प्रकाश आदि की व्यवस्था कराने के लिए संबधित लोगों को निर्देशित किया। बता दें कि समाजसेवी सनाउल्लाह शन्ने एक दशक पूर्व से ही इस ऐतिहासिक स्थल के उत्थान के लिए प्रयासरत हैं। उनके प्रयासों की वजह से देश के गृहमंत्री अमित शाह ने इस जगह का संज्ञान लिया और बीते दिनों बीएचयू में आयोजित एक कार्यक्रम में इसका जिक्र भी किया था। शन्ने ने बताया की लगभग 2000 साल पूर्व सम्राट स्कंदगुप्त ने उन बर्बर हुणों को परास्त किया था, जिनके बर्बर आतंक से चीन समेत पूरी दुनिया थर-थर कांपती थी। उन्हीं हुणों से बचने के लिए चीन ने विश्व धरोहर के रूप में स्थान बना चुकी चीन की दीवार की दीवार का निर्माण भी कराया। सिनेमा जगत में धूम मचा चुकी बाहुबली फ़िल्म भी सम्राट स्कंदगुप्त व हुणों की लड़ाई पर आधारित है। इसके अलावा बीते दिनों कौन बनेगा करोड़पति में भी इसी स्थल से संबंधित अमिताभ बच्चन ने एक सवाल भी पूछा था। निरीक्षण के दौरान मौके पर एडीओ शैलेश कुमार, सफदर अली बाबर, खैरुल वरा, गोपाल कुशवाहा, फैयाज अहमद, नेहाल अहमद, दिनेश यादव, शहनवाज आलम, कमाल भुट्टू आदि रहे।