करंडा, जखनियां, सादात सहित पूरे क्षेत्र में धूमधाम से मना छठ का पर्व, पहले सोपान में अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देकर की गई कामना
करंडा। क्षेत्र के चोचकपुर स्थित मौनी बाबा धाम पर डाला छठ के मौके पर धूमधाम से पर्व मनाया गया। शाम होते ही पूरा क्षेत्र लोकधुनों से गूंज उठा। हर तरफ छठ के गीत बज रहे थे। इन सभी के बीच लोक आस्था व सूर्योपासना के महापर्व का पहला सोपान अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देकर पूरा किया गया। इसके बाद शुक्रवार की सुबह उगते हुए सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा। गंगा घाटों पर भगवान भाष्कर को अर्घ्य दिया गया। पहली बार व्रत करने वाली महिलाओं ने गाजे-बाजे के साथ कोसी भरकर इस इस पर्व का शुभारंभ किया। वहीं रंग-बिरंगे परिधान पहनकर व्रती महिलाओं व युवतियां घाटों पर ‘कांच ही बांस की बहंगिया, बहंगी लचकत जाए आदि छठ के परम्परागत गीत गाते हुए पहुंचीं। उनके साथ पुरूष परिजन सिर पर पूजन सामग्री की दउरी रखकर चल रहे थे। पुत्र के दीर्घायु की कामना के साथ ही महिलाओं ने परिवार की सुख समृद्धि की कामना की। करंडा थानाक्षेत्र में सुरक्षा के लिए गंगा घाटों पर महिला व पुरुष कांस्टेबलों की तैनाती की गई थी। वहीं आपदा मित्रों ने भी नाव पर सवार होकर ड्यूटी की। थानाध्यक्ष बिंद कुमार चक्रमण करते दिखे।
जखनियां। पूरे क्षेत्र में छठ का त्योहार धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान गुरूवार को अस्ताचलगामी सूर्य को श्रद्धालुओं ने अर्घ्य देकर पूजा अर्चना करते हुए कामना की। कस्बे के शिवालय के पास स्थित अमृत सरोवर, कोतवाली के पास सेठजी का पोखरा, भुडकुडा के राम अखाड़ा पोखरा, बुढ़ानपुर, बारोडीह गांव के पातालेश्वर महादेव पोखरा, रेवरिया में मंगई नदी के घाटों को आकर्षक ढंग से सजाया गया था। जहां व्रती महिलाएं सूर्यास्त तक जलाशय में खड़ी रहीं। इसके बाद डूबते हुए भगवान भाष्कर को श्रद्धालुओं ने अर्घ्य दिया।
सादात। सादात क्षेत्र के भी सभी पोखरों पर व्रती महिलाओं ने पूजन अर्चन किया और श्रद्धालुओं ने डूबते सूर्य को अर्घ्य देकर आज का आयोजन पूर्ण किया। सुरक्षा के लिए पुलिस फोर्स तैनात थी।