गाजीपुर : संगठन नेतृत्व की सहमति के बावजूद जिले के 278 सीएचओ के काम पर न लौटने ठप पड़े आरोग्य मंदिर, जल्द हो सकती है सख्त कार्रवाई
गाजीपुर। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा ग्रामीण इलाकों में स्वास्थ्य सुविधा को संवार ने के लिए आयुष्मान आरोग्य मंदिरों का निर्माण कराकर उसके संचालन के लिए कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर यानी सीएचओ की नियुक्तियां कराई गई थीं। गाजीपुर में भी इस योजना के तहत 278 आयुष्मान आरोग्य मंदिर का निर्माण कराकर उन सभी केंद्रों पर सीएचओ की तैनाती भी की गई। लेकिन बीते 21 अगस्त से केंद्रों के सीएचओ अपनी विभिन्न मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं। वेतन लेते हुए एक साथ सभी केंद्रों पर सामूहिक हड़ताल किए जाने के चलते ये सभी केंद्र आमतौर पर बंद हैं, जिसके चलते सभी आरोग्य मंदिरों में स्वास्थ्य व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गई है। उन सीएचओ के हड़ताल को लेकर एनएचएम यूपी के मिशन निदेशक ने सख्त लहजे में गाजीपुर के सीएमओ को पत्र लिखकर आदेश दिया है। जिसके बाद से ही विभाग में हड़कंप मचा हुआ है। इस बाबत सीएमओ डॉ देशदीपक पाल ने बताया कि जनपद में संचालित सभी आयुष्मान आरोग्य मंदिर पर संविदा सेवा शर्तों के आधार पर कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसरों की नियुक्ति की गई। ताकि ग्रामीण इलाकों में मरीजों को बहुत सारी जांच और इलाज की सुविधा उनके गांव के पास ही मिल जाए। लेकिन पिछले 21 अगस्त से हड़तालरत जनपद के 278 सीएचओ को तत्काल हड़ताल खत्म कर काम पर वापिस आने की बात कही है। कहा कि अगर ये काम पर वापिस नहीं आते हैं तो उनका भुगतान रोकने के साथ ही संविदा सेवा शर्तों के अनुरूप कड़ी कार्रवाई की जाएगी। बताया कि मिशन निदेशक द्वारा भेजे पत्र में बताया गया कि सीएचओ संगठन से सभी तरह की वार्ता हो चुकी है। इसके बाद संगठन ने भी काम पर लौटने की सहमति जता दी थी। इसके बावजूद गाजीपुर में हड़ताल की आड़ में अब तक 278 सीएचओ केंद्र का किसी तरह का काम नहीं कर रहे थे। जिसको लेकर अब विभाग ने सेवा शर्तों के आधार पर अपनी ड्यूटी पर न आने वाले ऐसे लोगों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने की बात स्पष्ट कर दी है। सीएमओ ने बताया कि इस संबंध में जनपद के सभी अधीक्षक एवं प्रभारी अधीक्षकों को पत्र लिखकर अवगत करा दिया गया है। संविदा सेवा शर्तों के अनुरूप अगर ये लोग वापिस अपने काम पर नहीं आते हैं तो यह सभी लोग प्रतिकूल प्रविष्टि के लिए स्वयं जिम्मेदार होंगे। इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता क्षम्य में नहीं होगी।