जिले में जगह-जगह मना जनजातीय गौरव दिवस, बिरसा मुंडा की जयंती पर किया गया याद





गाजीपुर। महान सेनानी बिरसा मुंडा की जयंती को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाया गया। इसी क्रम में भांवरकोल में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें भाजपा नेता आनंद राय ने कहा कि भगवान के रूप में प्रसिद्ध बिरसा मुंडा आजीवन वनभूमि के साथ ही सामाजिक, सांस्कृतिक मूल्यों के रक्षा की लड़ाई लड़ते रहे। वो अपने साथियों के साथ अंग्रेजों से लड़ते हुए शहीद हो गए। उनकी शहादत के ही परिणाम स्वरूप देश के विभिन्न हिस्सों में रह रहे आदिवासी समुदाय ने अंग्रेज़ी हुकूमत को कड़ी टक्कर दी। कहा कि अंग्रेजों के विरूद्ध जनजाति समाज का अपना व्याप्त एवं विशाल योगदान रहा है। उन्होंने आदिवासी समुदाय के संघर्ष को नई पहचान दिलाई। खंड विकास अधिकारी रामकृपाल यादव ने कहा कि बहुत कम लोग जानते हैं कि अंग्रेजों को सबसे पहली सशक्त चुनौती आदिवासी समाज से मिलनी शुरू हुई थी। उन्होंने कहा कि बिरसा मुंडा के अनुरूप जनजातीय समाज फिर से स्थापित करने के लिए आज हमें संकल्पित होना पड़ेगा। एडीओ पंचायत सूर्यभान राय ने कहा कि 1857 के प्रथम स्वतंत्रता आंदोलन की कुंद पड़ी क्रांति की धार को बिरसा मुंडा के नेतृत्व में नई धार मिली थी। इस मौके पर एडीओ सहायक कन्हैया लाल मौर्य, रतन कुमार आदि रहे। इसी क्रम में बिरसा मुंडा की याद में सेवा समर्पण संस्थान द्वारा कादीपुर बहादुर के बनवासी बस्ती में कार्यक्रम आयोजित किया गया। इसके साथ ही जिले के 10 वनवासी बस्ती अलीपुर मंदरा, पौटा, रामदासपुर, मीरपुर, दरौली, सिसवारे, बरहपार, सौरम में संचालित एकल विद्यालयों एवं श्रद्धा जागरण केंद्रों पर कार्यक्रम आयोजित हुआ। इस मौके पर संजीव गुप्ता, रामराज बनवासी, जितेंद्र सिंह, संतोष जायसवाल, वीरेंद्र चौहान, हरिहर बनवासी, नगीना बनवासी, ग्राम प्रधान डॉ ओमप्रकाश यादव, लक्ष्मण, राणा बनवासी, ओमप्रकाश मौर्य आदि रहे।



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