रेलवे स्टेशन और रोडवेज बस अड्डे पर पब्लिक एनाउंसमेंट सिस्टम से दिया जा रहा है संदेश, भारत को टीबी मुक्त करने की दिशा में नया कदम
गोरखपुर। ‘टीबी को हरा कर बनाएं टीबी मुक्त देश, टीबी के लक्षण को पहचाने, लम्बी खांसी और बुखार..... बलगम में खून और कम हो रहा शरीर का भार, तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र जाएं..... बलगम से टीबी की जांच कराएं, अगर हो गया है टीबी तो फौरन शुरू करें उपचार...... बीच में न छोड़ें दवा और साथ में लें पौष्टिक आहार।’ ये संदेश इन दिनों रेलवे स्टेशन और रोडवेज बस अड्डे के पब्लिक एनाउंसमेंट सिस्टम से लोगों को देकर जागरूक किया जा रहा है। राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम के तहत जिले में छठ पर्व तक प्रवासियों को सजग करने के अभियान की कड़ी में यह कदम उठाए गये हैं। प्रभारी जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ गणेश प्रसाद यादव का कहना है कि दीपावली और छठ पर्व के मद्देनजर बड़ी संख्या में प्रवासियों का ट्रेन और बस से गोरखपुर आना और यहां से जाना होता है। ऐसे में टीबी उन्मूलन का संदेश न सिर्फ उन्हें प्रभावित करेगा, बल्कि यह संदेश दूरदराज के गांवों तक भी पहुंच सकेगा और यही इस अभियान का उद्देश्य है। उन्होंने बताया कि टीबी एक ऐसी बीमारी है जिसके मरीज को समय से ढूंढ कर इलाज की सुविधा न दी जाए तो वह साल भर में 10 से 15 लोगों को संक्रमित कर सकता है। टीबी के जांच और इलाज की सुविधा सरकारी अस्पतालों में निःशुल्क है लेकिन कई बार सही जानकारी के अभाव में मरीज या तो जांच नहीं कराते या फिर इलाज के लिए इधर उधर भटकते रहते हैं। डॉ यादव ने बताया कि टीबी मरीजों को इलाज के दौरान 500 रुपये प्रति माह पोषण भत्ता इलाज चलने तक दिया जाता है। नये मरीज को खोजने में मददगार चिकित्सक या गैर सरकारी व्यक्ति को भी 500 रुपये दिये जाते हैं। मरीज की आधुनिकतम और महंगी सीबीनॉट जांच भी सरकारी अस्पताल में निःशुल्क होती है। निक्षय मित्र जिले में टीबी मरीजों को आवश्यक मदद करने के उद्देश्य से गोद भी लेते हैं। यह सुविधाएं तभी प्राप्त हो सकती हैं जब लक्षण दिखते ही मरीज जांच के लिए निकटतम स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे। इस कार्य में वह आशा कार्यकर्ता और एएनएम की मदद भी ले सकते हैं। पब्लिक प्राइवेट मिक्स (पीपीएम) समन्वयक अभय नारायण मिश्र का कहना है कि टीबी उन्मूलन के लिए स्कूल, कॉलेज, निजी अस्पतालों, विभिन्न संगठन और सरकारी संस्थाओं को अभियान से जोड़ा जा रहा है। टीबी सम्बन्धित किसी भी प्रकार के सहयोग के लिए उनके मोबाइल नंबर 8299807923 पर सम्पर्क किया जा सकता है। जगन्नाथपुर के रहने वाले डॉ योगेश प्रताप सिंह का कहना है कि रेलवे स्टेशन बस अड्डे पर उन्होंने टीबी उन्मूलन का संदेश रात में भी सुना है। यह एक सराहनीय पहल है और इससे लोग एक बार बीमारी के बारे में सोचेंगे अवश्य। प्रवासियों को टीबी के प्रति जागरूक करने की ऐसी पहल उन्होंने पहली बार देखी और सुनी है।