डीएम हुजूर! जनता कैसे करेगी सोशल डिस्टेंसिंग का पालन, जब बताने वाले खुद ही करते हैं उल्लंघन





जखनियां। कोविड-19 टीकाकरण के लिए अब लोग स्वतः ही गांवों के बाहर निकलने लगे हैं। वैक्सीन की कमी की वजह से कई दिनों से वैक्सीनेशन की रफ्तार धीमी पड़ गयी थी, लेकिन अब गांवों के प्राथमिक विद्यालयों पर कैंम्प लगाकर किए जा रहे वैक्सीनेशन में लोगों की भीड़ उमड़ रही है। स्थिति ये है कि लोगों को सोशल डिस्टेंसिग का पाठ पढ़ाने वाले स्वास्थ्यकर्मी खुद ही नियमों का उल्लंघन करते हुए बिना मास्क के भीड़ के बीच बैठ रहे हैं। सोमवार को खानपुर रघुबर राय स्थित प्राथमिक विद्यालय में हो रहे टीकाकरण कैम्प में बिना मास्क और बिना सोशल डिस्टेंसिंग के स्वास्थ्य टीम मौजूद थी। इनकी लापरवाही पूरे विभाग के लिये प्रश्नचिह्न है। गौरतलब है कि टीकाकरण कैंपों की जांच के लिये स्वास्थ विभाग की तरफ से जांच टीम भी बनाई गई है। लेकिन जब विभाग अपने कर्मियों से ही कोविड नियमों का पालन नहीं करवा पा रहा है तो आम जन मानस से कैसे पालन करायेगा। इस महामारी से बचने के लिए एक प्रचलित स्लोगन हर जगह देखने और पढ़ने को मिलता है ’दो गज की दूरी मास्क है जरूरी’। लेकिन यहां टेबल पर बैठे कर्मी को अपने जान की भी परवाह नहीं है तो दूसरों की कैसे होगी।



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