बिना प्रशासनिक इजाजत के अबकी भी नहीं मनेगा त्योहार, सरस्वती पूजा पर कोरोना का ग्रहण
खानपुर। विद्या व ज्ञान की देवी सरस्वती का पूजनोत्सव का आयोजन इस बार भी प्रशासन की बिना अनुमति के नहीं किया जाएगा। विद्यार्थियों में बसंत पंचमी के पर्व विशेष महत्व होता है। ज्ञान की देवी मां सरस्वती की मूर्ति स्थापित कर जगह-जगह लोग पूजा करते है। क्षेत्राधिकारी बलिराम प्रसाद ने बताया कि इस वर्ष भी कोविड संक्रमण के प्रसार और कोरोना प्रोटोकाल के दिशानिर्देश अनुसार सार्वजनिक पंडालों में बिना प्रसाशनिक अनुमति के मूर्ति स्थापित नहीं की जाएगी। सभी श्रद्धालुओं एवं विद्यार्थियों को अपने घरों में छोटी मूर्ति या तस्वीरों के माध्यम से पूजा पाठ करने की सलाह दी जा रही है। बसंत पंचमी का दिन विद्यार्थियों के लिए महत्वपूर्ण माना गया है। इस दिन से शिक्षा या विद्या का प्रारंभ करना उत्तम माना गया है। इसी दिन ज्ञान की देवी मां सरस्वती का उद्भव हुआ था इसलिए इस दिन मां सरस्वती की विशेष पूजा की जाती है। 2022 में माघ माह के शुक्ल पंचमी के 5 फरवरी शनिवार को सुबह 3 बजकर 47 मिनट से शुरू होकर बसंत पंचमी का शुभ समय 6 फरवरी सुबह 3 बजकर 46 मिनट तक रहेगा। इसलिए बसंत पंचमी का पर्व शनिवार को मनाया जाएगा। उत्तरा भाद्रपद नक्षत्र में मां सरस्वती की पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 7 बजकर 7 मिनट से दोपहर 12 बजकर 35 मिनट तक है।