कालाजार से दो-दो हाथ करने को स्वास्थ्य महकमा तैयार, पूरे पखवारे तक होगा छिड़काव





गाजीपुर। स्वास्थ्य महकमा अब कालाजार को दूर भगाने के लिए पूर्ण रूप से तैयार है। इसके तहत 26 मार्च से 10 मई तक जगह-जगह छिड़काव किया जाएगा ताकि ग्रामीण इलाके के मिट्टी के घरों में पनपने वाली सफेद मक्खी या बालू मक्खी को खत्म किया जा सके। इसी क्रम में सोमवार को मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में चिह्नित ब्लॉकों के कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया गया। इस दौरान जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. बेदी यादव ने बताया कि कालाजार या काला ज्वर एक गंभीर रोग है जो परजीवियों से फैलता है। इसे धीमी गति से फैलने वाला स्थानीय रोग भी कहते है और इसका वायरस या परजीवी सीधे व्यक्ति के शरीर के इम्यून सिस्टम को कमजोर करता है और लीवर को भी क्षति पहुंचाता है। बताया कि छिड़काव का कार्य जनपद के मोहम्मदाबाद के फैजुल्लापुर और रघुवर गंज, भांवरकोल के गोड़उर, सुखडेहरा और वीरपुर, कासिमाबाद के मनेरिया, बारांचवर के असावर, अकटहीं, मनिहारी के कुकुड़हा में किया जाएगा। वहीं ऐसे गांव जो कालाजार से प्रभावित हैं, वहां दैनिक वेतन भोगी मजदूरों के माध्यम से संबंधित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की देखरेख में छिड़काव कराया जाएगा। जिला मलेरिया निरीक्षक अविनाश यादव ने बताया कि कालाजार की सूत्रधार बालू मक्खी ग्रामीण इलाकों के मिट्टी के घरों के दरारों में पनपती हैं। ये इतनी छोटी होती हैं कि इन्हें नंगी आंख से देख पाना भी मुश्किल होता है। बताया कि यदि किसी को 15 दिन से अधिक बुखार, मलेरिया की दवा लेने के बाद भी ठीक न हो रहा हो, भूख न लगती हो तो यह सब कालाजार के लक्षण हो सकते हैं जिनका तत्काल स्थानीय स्वास्थ्य केंद्र पर जाकर जांच कराकर उपचार कराना चाहिए। बताया कि इसके लिए अपने आस पास गंदगी को न पनपने दें। बताया कि इसका सबसे मुख्य लक्षण चमड़ी पर सफेद दाग हो जाना है। बताया कि इस बीमारी के एक बार ठीक हो जाने के बाद दोबारा होने की भी संभावनाएं होती हैं। इस मौके पर सहायक मलेरिया अधिकारी संजीव सिंह, केयर इंडिया के ट्रेनर मुकेश कुमार, पार्थ ऑर्गनाइजेशन के तकनीकी अधिकारी डा. नीरज आदि मौजूद थे।



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