अपने पिता व भाई की करतूत को छिपाने के लिए कराई थी विकास कार्यों की जांच, लेखपाल ने दर्ज कराया मुकदमा
खानपुर। क्षेत्र के सरवरपुर गांव के अधिवक्ता शिवकुमार यादव ने अपने पिता और भाई के करतूत को छिपाने के लिए गांव के मनरेगा कार्यों की जांच करायी थी। अब उसके पिता और भाई खुद आपराधिक कृत्य में लिप्त पाये गये हैं। शिवकुमार के पिता रामजी यादव और भाई कृपाशंकर के खिलाफ लेखपाल ने ग्राम समाज की जमीन पर मकान बनाने का मुकदमा दर्ज कराया है। तहसीलदार नीलम उपाध्याय ने मौके का निरीक्षण कर इन लोगों को नोटिस भेजकर जांच बिठा दिया है। उपजिलाधिकारी ओमप्रकाश गुप्ता ने रामजी यादव और उनके पुत्र कृपाशंकर को आपराधिक चरित्र का व्यक्ति मानते हुए समाज में स्वच्छंद घूमने पर रोक लगाते हुए बुधवार तक अदालत में उपस्थित होकर एक लाख रुपये का निजी मुचलका भरने को निर्देशित किया है। खुद के अपराध को छिपाने के लिए ग्रामप्रधान के कार्यो की जांच में अधिकारियों को उलझाने वाले शिवकुमार ने डीएम से शिकायत कर अपने गांव सरवरपुर में हुए कार्यों की जांच कराई थी। उस दौरान तीन दिनों तक चली मैराथन जांच में करीब 54 कार्यों की जांच की गई थी। तीन दिन तक लगातार करीब पांच दर्जन मनरेगा कार्यों की जांच कराने के बहाने महिला प्रधान उर्मिला देवी को लगातार परेशान किया गया था। लेकिन ब्लाक सहित जिले के सक्षम अधिकारियों द्वारा सभी जांच पड़ताल में सब कुछ सही पाये गए थे। अब खुद ऐसे कार्य में लिप्त पाए जाने के बाद ग्रामीण उन्हें भी कोस रहे हैं।